रविवार को यूक्रेन ने रूस के खिलाफ अब तक का सबसे बड़ा ड्रोन हमला किया। इस गुप्त मिशन को ‘ऑपरेशन स्पाइडर वेब’ नाम दिया गया था। यूक्रेनी ड्रोन्स ने रूस की सीमा में घुसकर पांच एयरबेस पर हमला किया और 41 रूसी विमानों को निशाना बनाया। इनमें टीयू-95 और टीयू-22 जैसे रणनीतिक बमवर्षक के साथ ए-50 रडार डिटेक्शन और कमांड विमान भी शामिल थे—जिनका इस्तेमाल रूस यूक्रेन पर हमलों में करता रहा है। यह हमला करीब डेढ़ साल की योजना के बाद अंजाम दिया गया। आइए जानें, ऑपरेशन स्पाइडर वेब ने रूस को कैसे भारी नुकसान पहुंचाया।
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ऑपरेशन स्पाइडर वेब की तैयारी पिछले डेढ़ साल से जारी थी
यूक्रेन डेढ़ साल से ऑपरेशन स्पाइडर वेब की तैयारी कर रहा था। ड्रोन को कैसे और कब लॉन्च करना है, बाकायदा इसकी पूरी योजना बनाई गई। यूक्रेन के ड्रोन रूस की सीमा के अंदर चार हजार किमी तक कैसे पहुंचें, इसका भी पूरा खाका तैयार किया गया। यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने बताया कि डेढ़ साल से ज्यादा की योजना के बाद ऑपरेशन स्पाइडर वेब शुरू किया गया। हमने बड़े पैमाने पर किए इस हमले में 117 ड्रोन तैनात किए। इन ड्रोन ने लक्षित हवाई क्षेत्रों में क्रूज मिसाइल वाहकों के 34 प्रतिशत हिस्से को निशाना बनाया।
ड्रोन्स को ट्रक में छिपाकर रूस की सीमा तक पहुंचाया गया
रूस के हमलों का यूक्रेन ने पहले भी ड्रोन से जवाब दिया है। इस बार भी यूक्रेन ने ड्रोन का इस्तेमाल करके रूस को नुकसान पहुंचाया। यूक्रेन सुरक्षा सेवा (एसबीयू) ने बताया कि ऑपरेशन स्पाइडर वेब के लिए ड्रोन को पहले तस्करी के जरिये ट्रक में छिपाकर रूस की सीमा के अंदर पहुंचाया गया। इन ड्रोन को ट्रकों में लकड़ी के केबिन की छत के नीचे छिपाया गया था। हमले के वक्त ट्रक की छत को खोला गया और ड्रोन ने हमले शुरू कर दिए। एसयूबी की ओर से जारी की गई तस्वीरों में परिवहन कंटेनरो में काले छोटे ड्रोन छिपे नजर आ रहे हैं।
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ड्रोन्स ने किन-किन जगहों पर मचाई तबाही?
यूक्रेन ने ड्रोन ने रूस में पांच एयरबेस पर तबाही मचाई। रूस के रक्षा मंत्रालय ने बताया कि यूक्रेन ने एफपीवी ड्रोन से मरमंस्क, इरकुत्स्क, इवानोवो, रियाजान और अमूर क्षेत्रों में उसके पांच सैन्य हवाई अड्डों पर हमला किया। हमलों में उसके कई विमानों में आग लग गई। मरमंस्क और इरकुत्स्क क्षेत्रों में सैन्य हवाई अड्डों के नजदीकी इलाकों से एफपीवी ड्रोन लॉन्च होने से कई विमानों में आग लग गई। आग बुझा दी गई। रूस के रक्षा मंत्रालय ने माना कि ड्रोन यूक्रेन से नहीं बल्कि एयरबेस के आसपास से ही लॉन्च किए गए। यूक्रेन की सीमा से करीब चार हजार किमी दूर इरकुत्स्क ओब्लास्ट में बेलाया एयरबेस और उत्तर में दो हजार किमी दूर मरमंस्क ओब्लास्ट में ओलेन्या एयरबेस पर हमला किया। सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो में इन दोनों एयरबेस पर रूसी विमान जलते हुए दिखाई दे रहे हैं।
रूस को हुआ सात अरब डॉलर का भारी नुकसान
यूक्रेन ने अपने ड्रोन हमले से रूस को करारा झटका दिया है। यूक्रेन की सुरक्षा सेवा का दावा है कि हमलों के बाद रूस के सैन्य विमानो को करीब सात अरब डॉलर का नुकसान पहुंचा है। एसबीयू ने सोशल मीडिया पोस्ट में लिखा कि सात बिलियन डॉलर: यह दुश्मन के रणनीतिक विमानन की अनुमानित लागत है, जिसे विशेष अभियान से नुकसान पहुंचाया गया।
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संघर्ष विराम वार्ता से पहले यूक्रेन ने किया बड़ा कदम
यूक्रेन ने बीते तीन साल में पहली बार सबसे बड़ा हमला किया है। यह उस वक्त में हुआ है, जब रूस-यूक्रेन के बीच तुर्किये में संघर्ष विराम को लेकर वार्ता होनी है। यू्क्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की ने वार्ता में भाग लेने के लिए रक्षा मंत्री रुस्तम उमरोव के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल इस्तांबुल भेजा है। जेलेंस्की ने कहा कि हम अभी भी पूर्ण और बिना शर्त संघर्षविराम (सीजफायर) का प्रस्ताव दे रहे हैं। ऐसे सभी तार्किक और सम्मानजनक कदमों की पेशकश भी कर रहे हैं। इससे एक स्थायी और विश्वसनीय शांति की ओर बढ़ा जा सकता है। यूक्रेन के राष्ट्रपति ने कहा, रूस को हमने जो प्रस्ताव भेजा है वह तर्कसंगत और यथार्थवादी है।